अमेरिका ने औपचारिक तौर पर विश्व स्वास्थ्य संगठन यानी WHO से नाता तोड़ लिया है। यह दावा मंगलवार को अमेरिकी मीडिया ने किया।
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प ने औपचारिक तौर पर विश्व स्वास्थ्य संगठन से अलग होने का प्रस्ताव पेश किया है। ट्रम्प ने मंगलवार को अमेरिकी कांग्रेस को सूचित किया कि अमेरिका अब औपचारिक तौर पर डब्ल्यू एच ओ से अलग हो रहा है। द हिल और सीएनएन ने इस खबर की पुष्टि की है कि कोरोना महामारी की रोकथाम में लगे डब्ल्यूएचो से अमेरिका अलग हो जाएगा।
The Trump administration has notified Congress that it is formally withdrawing the United States from the World Health Organization amid the coronavirus pandemic, multiple officials tell CNN https://t.co/oQMLEH3bhk
— CNN (@CNN) July 7, 2020
अमेरिकी मीडिया के मुताबिक अमेरिका ने संयुक्त राष्ट्र महासचिव के सामने प्रस्ताव पेश कर कहा है कि अमेरिका 6 जुलाई से विश्व स्वास्थ्य संगठन से अलग हो गया है। इस बारे में एक वरिष्ठ डेमोक्रेट और अमेरिकी विदेश मंत्रालय की समिति के सदस्य बॉब मेनेंडेस ने भी ट्वीट किया कि राष्ट्रपति ट्रम्प ने इस बारे में अमेरिकी कांग्रेस को सूचित कर दिया है। मेनेजेस ने ट्रम्प के इस फैसले की आलोचना की है। उन्होंने कहा कि, “कोरोना महामारी को लेकर ट्रम्प का रवैया बेहद अस्थिर और गड़बड़ी वाला रहा है। इस फैसले से अमेरिकी नागरिकों के जीवन की रक्षा नहीं होगी बल्कि इससे अमेरिकी बीमार होंगे और अमेरिका अलग-थलग पड़ जाएगा।”
Congress received notification that POTUS officially withdrew the U.S. from the @WHO in the midst of a pandemic.
To call Trump’s response to COVID chaotic & incoherent doesn't do it justice. This won't protect American lives or interests—it leaves Americans sick & America alone.
— Senator Bob Menendez (@SenatorMenendez) July 7, 2020
गौरतलब है कि डोनल्ड ट्रम्प ने मई में ऐलान किया था कि वह डब्ल्यू एच ओ से अलग हो सकते हैं। इससे पहले उन्होंने विश्व स्वास्थ्य संगठन को दी जाने वाली आर्थिक सहायता बंद कर दी थी। दरअसल ट्रम्प विश्व स्वास्थ्य संगठन की आलोचना करते रहे हैं। उनका आरोप रहा है कि डब्ल्यू एच ओ कथित तौर पर कोरोना वायरस फैलाने वाले चीन को इस बात को छिपाने में मदद कर रहा है। उन्होंने डब्ल्यू एच ओ द्वारा जारी की गई चेतावनी को भी नजरंदाज किया था।
ध्यान रहे कि अमेरिका ने ऐसे वक्त में खुद को विश्व स्वास्थ्य संगठन से अलग किया है जब अमेरिका में कोरोना के केस तेजी से बढ़ रहे हैं। पूरी दुनिया में कोरोना संक्रमण के जितने मामले हैं उनमें अमेरिका अव्वल नंबर पर है। मंगलवार तक यह संख्या 30 लाख पार कर चुकी थी।